लगता है चाहत की दुनिया का खुदा हुं Hindi Gazal By Naresh K. Dodia

 लगता है चाहत की दुनिया का खुदा हुं Hindi Gazal By Naresh K. Dodia
 लगता है चाहत की दुनिया का खुदा हुं Hindi Gazal By Naresh K. Dodia
 ख्यालो मे तेरे मे जबजब भी डुबा हुं
    लगता है चाहत की दुनिया का खुदा हुं

    जब से आइ है खूशी बन के जीवन मे
    फसले ब्हारो सा तेरे दिल मे उगा हुं

    तारीफे कितनी तेरी ही करता है दिल
    अलफाजो की पंखो पे जैसे उडा हुं

    तेरी रुह मे बसना है इस कद्र मुज को
    तेरे सीने मे धडकन बन के उठा हुं

    मौजे ए दरिया बन के उठता हुं जाना
    तेरे दिल में आकर मे अकसर रुकां हुं

    मेरी गजले,मेरी नजमे देख ले तुं
    शायर बन के तेरे सजदे सर जुकां हुं

    बादल को देखो,बारिश की चाहत होती
    तुज को देखे बादल सा मे घुनां हुं

    लगता है आंखो में मेला याद बन के
    लगता है तेरी यादो का मे जुला हुं
    -नरेश के.डॉडीया

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