अपने गम से आज रूस्वा हो गया हूँ Hindi Muktak By Naresh K. Dodia

अपने गम से आज रूस्वा हो गया हूँ Hindi Muktak By Naresh K. Dodia
अपने गम से आज रूस्वा हो गया हूँ Hindi Muktak By Naresh K. Dodia
अपने गम से आज रूस्वा हो गया हूँ
हद से बढ के आज तेरा हो गया हूँ
मैं तिरे लिबास की खुशबू तरह हूँ 
मैं बदन का तेरा पहेरा हो गया हूँ 
- नरेश के. डोडीया
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