पथ्थरमाथी इश्वर बनावानुं घणाने कारखानुं होय छे Gujarati Gazal By Naresh K. Dodia
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पथ्थरमाथी इश्वर बनावानुं घणाने कारखानुं होय छे Gujarati Gazal By Naresh K. Dodia |
पथ्थरमाथी इश्वर बनावानुं घणाने कारखानुं होय छे
ए काम धुळ माणसनी आंखोमां मजेथी नांखवांनुं होय छे
गादीपतीओ,साधुनी अलमस्त काया जोइने आव्यो विचार
मणमणनी काया लइ मफत शीरा पूरी आरोगवानुं होय छे
नफ्फटतानी ए हद वटावी रोज पग चंपी करे स्वामीजीनी
ए स्त्रीना वरनुं काम छैंया छोकरांने पोषवानुं होय छे
आवी गयां छे बापु धोळा वाळ,एनो तो मलाजो करो
हे वत्स! मारुं काम तो बस देहसुखने माणवानु होय छे
तकरीर फरमावे छे जे ए मानवी,महमद कदी बोल्या नथी
ए मौलवीनुं काम लोकोने सतत उश्केरवानुं होय छे
ज्यां चांदला म्हेंदी लगावानी मनाइ होय एवी स्कुलमां
बस वीधवांनुं रूप लइ बाळाओने भणवा जवानुं होय छे
गौरव नथी जे मानवीने हिंदु होवानो कहीए शुं भलां
चोवीसो धंटे काम एनुं देशने बस भांडवानुं होय छे
हसता मुखे इसाइओथी लइ मलेच्छो साचवे छे देश त्यां
सौ देशवासी एक थइने हिंदुस्तानी थवानुं होय छे
- नरेश के. डॉडीया
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